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Sura 46
Aya 25
25
تُدَمِّرُ كُلَّ شَيءٍ بِأَمرِ رَبِّها فَأَصبَحوا لا يُرىٰ إِلّا مَساكِنُهُم ۚ كَذٰلِكَ نَجزِي القَومَ المُجرِمينَ

फ़ारूक़ ख़ान & नदवी

जो अपने परवरदिगार के हुक्म से हर चीज़ को तबाह व बरबाद कर देगी तो वह ऐसे (तबाह) हुए कि उनके घरों के सिवा कुछ नज़र ही नहीं आता था हम गुनाहगारों की यूँ ही सज़ा किया करते हैं