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Sura 45
Aya 9
9
وَإِذا عَلِمَ مِن آياتِنا شَيئًا اتَّخَذَها هُزُوًا ۚ أُولٰئِكَ لَهُم عَذابٌ مُهينٌ

फ़ारूक़ ख़ान & अहमद

जब हमारी आयतों में से कोई बात वह जान लेता है तो वह उनका परिहास करता है, ऐसे लोगों के लिए रुसवा कर देनेवाली यातना है