10مِن وَرائِهِم جَهَنَّمُ ۖ وَلا يُغني عَنهُم ما كَسَبوا شَيئًا وَلا مَا اتَّخَذوا مِن دونِ اللَّهِ أَولِياءَ ۖ وَلَهُم عَذابٌ عَظيمٌफ़ारूक़ ख़ान & अहमदउनके आगे जहन्नम है, जो उन्होंने कमाया वह उनके कुछ काम न आएगा और न यही कि उन्होंने अल्लाह को छोड़कर अपने संरक्षक ठहरा रखे है। उनके लिए तो बड़ी यातना है