27الَّذينَ يَنقُضونَ عَهدَ اللَّهِ مِن بَعدِ ميثاقِهِ وَيَقطَعونَ ما أَمَرَ اللَّهُ بِهِ أَن يوصَلَ وَيُفسِدونَ فِي الأَرضِ ۚ أُولٰئِكَ هُمُ الخاسِرونَफ़ारूक़ ख़ान & अहमदजो अल्लाह की प्रतिज्ञा को उसे सुदृढ़ करने के पश्चात भंग कर देते हैं और जिसे अल्लाह ने जोड़ने का आदेश दिया है उसे काट डालते हैं, और ज़मीन में बिगाड़ पैदा करते हैं, वही हैं जो घाटे में हैं