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Sura 12
Aya 104
104
وَما تَسأَلُهُم عَلَيهِ مِن أَجرٍ ۚ إِن هُوَ إِلّا ذِكرٌ لِلعالَمينَ

फ़ारूक़ ख़ान & नदवी

हालॉकि तुम उनसे (तबलीगे रिसालत का) कोई सिला नहीं मॉगते और ये (क़ुरान) तो सारे जहाँन के वास्ते नसीहत (ही नसीहत) है