49هٰذا ذِكرٌ ۚ وَإِنَّ لِلمُتَّقينَ لَحُسنَ مَآبٍफ़ारूक़ ख़ान & नदवीये एक नसीहत है और इसमें शक नहीं कि परहेज़गारों के लिए (आख़ेरत में) यक़ीनी अच्छी आरामगाह है