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Sura 30
Aya 38
38
فَآتِ ذَا القُربىٰ حَقَّهُ وَالمِسكينَ وَابنَ السَّبيلِ ۚ ذٰلِكَ خَيرٌ لِلَّذينَ يُريدونَ وَجهَ اللَّهِ ۖ وَأُولٰئِكَ هُمُ المُفلِحونَ

फ़ारूक़ ख़ान & अहमद

अतः नातेदार को उसका हक़ दो और मुहताज और मुसाफ़िर को भी। यह अच्छा है उनके लिए जो अल्लाह की प्रसन्नता के इच्छुक हों और वही सफल है