36وَما يَتَّبِعُ أَكثَرُهُم إِلّا ظَنًّا ۚ إِنَّ الظَّنَّ لا يُغني مِنَ الحَقِّ شَيئًا ۚ إِنَّ اللَّهَ عَليمٌ بِما يَفعَلونَफ़ारूक़ ख़ान & अहमदऔर उनमें से अधिकतर तो बस अटकल पर चलते है। निश्चय ही अटकल सत्य को कुछ भी दूर नहीं कर सकती। वे जो कुछ कर रहे हैं अल्लाह उसको भली-भाँति जानता है