106وَلا تَدعُ مِن دونِ اللَّهِ ما لا يَنفَعُكَ وَلا يَضُرُّكَ ۖ فَإِن فَعَلتَ فَإِنَّكَ إِذًا مِنَ الظّالِمينَफ़ारूक़ ख़ान & अहमदऔर अल्लाह से हटकर उसे न पुकारो जो न तुम्हें लाभ पहुँचाए और न तुम्हें हानि पहुँचा सके और न तुम्हारा बुरा कर सके, क्योंकि यदि तुमने ऐसा किया तो उस समय तुम अत्याचारी होगे