162قُل إِنَّ صَلاتي وَنُسُكي وَمَحيايَ وَمَماتي لِلَّهِ رَبِّ العالَمينَफ़ारूक़ ख़ान & नदवी(ऐ रसूल) तुम उन लोगों से कह दो कि मेरी नमाज़ मेरी इबादत मेरा जीना मेरा मरना सब ख़ुदा ही के वास्ते है जो सारे जहाँ का परवरदिगार है