140قَد خَسِرَ الَّذينَ قَتَلوا أَولادَهُم سَفَهًا بِغَيرِ عِلمٍ وَحَرَّموا ما رَزَقَهُمُ اللَّهُ افتِراءً عَلَى اللَّهِ ۚ قَد ضَلّوا وَما كانوا مُهتَدينَफ़ारूक़ ख़ान & नदवीबेशक जिन लोगों ने अपनी औलाद को बे समझे बूझे बेवकूफी से मार डाला और जो रोज़ी ख़ुदा ने उन्हें दी थी उसे ख़ुदा पर इफ़तेरा (बोहतान) बाँध कर अपने ऊपर हराम कर डाला और वह सख्त घाटे में है ये यक़ीनन राहे हक़ से भटक गऐ और ये हिदायत पाने वाले थे भी नहीं