39فَتَوَلّىٰ بِرُكنِهِ وَقالَ ساحِرٌ أَو مَجنونٌफ़ारूक़ ख़ान & नदवीतो उसने अपने लशकर के बिरते पर मुँह मोड़ लिया और कहने लगा ये तो (अच्छा ख़ासा) जादूगर या सौदाई है