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Sura 4
Aya 8
8
وَإِذا حَضَرَ القِسمَةَ أُولُو القُربىٰ وَاليَتامىٰ وَالمَساكينُ فَارزُقوهُم مِنهُ وَقولوا لَهُم قَولًا مَعروفًا

फ़ारूक़ ख़ान & नदवी

और जब (तर्क की) तक़सीम के वक्त (वह) क़राबतदार (जिनका कोई हिस्सा नहीं) और यतीम बच्चे और मोहताज लोग आ जाएं तो उन्हे भी कुछ उसमें से दे दो और उसे अच्छी तरह (उनवाने शाइस्ता से) बात करो