75۞ وَلَو رَحِمناهُم وَكَشَفنا ما بِهِم مِن ضُرٍّ لَلَجّوا في طُغيانِهِم يَعمَهونَफ़ारूक़ ख़ान & नदवीऔर अगर हम उन पर तरस खायें और जो तकलीफें उनको (कुफ्र की वजह से) पहुँच रही हैं उन को दफा कर दें तो यक़ीनन ये लोग (और भी) अपनी सरकशी पर अड़ जाए और भटकते फिरें