1المر ۚ تِلكَ آياتُ الكِتابِ ۗ وَالَّذي أُنزِلَ إِلَيكَ مِن رَبِّكَ الحَقُّ وَلٰكِنَّ أَكثَرَ النّاسِ لا يُؤمِنونَफ़ारूक़ ख़ान & नदवीअलिफ़ लाम मीम रा ये किताब (क़ुरान) की आयतें है और तुम्हारे परवरदिगार की तरफ से जो कुछ तुम्हारे पास नाज़िल किया गया है बिल्कुल ठीक है मगर बहुतेरे लोग ईमान नहीं लाते