68كَأَن لَم يَغنَوا فيها ۗ أَلا إِنَّ ثَمودَ كَفَروا رَبَّهُم ۗ أَلا بُعدًا لِثَمودَफ़ारूक़ ख़ान & अहमदमानो वे वहाँ कभी बसे ही न थे। "सुनो! समूद ने अपने रब के साथ कुफ़्र किया। सुन लो! फिटकार हो समूद पर!"