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Sura 5
Aya 5
5
اليَومَ أُحِلَّ لَكُمُ الطَّيِّباتُ ۖ وَطَعامُ الَّذينَ أوتُوا الكِتابَ حِلٌّ لَكُم وَطَعامُكُم حِلٌّ لَهُم ۖ وَالمُحصَناتُ مِنَ المُؤمِناتِ وَالمُحصَناتُ مِنَ الَّذينَ أوتُوا الكِتابَ مِن قَبلِكُم إِذا آتَيتُموهُنَّ أُجورَهُنَّ مُحصِنينَ غَيرَ مُسافِحينَ وَلا مُتَّخِذي أَخدانٍ ۗ وَمَن يَكفُر بِالإيمانِ فَقَد حَبِطَ عَمَلُهُ وَهُوَ فِي الآخِرَةِ مِنَ الخاسِرينَ

फ़ारूक़ ख़ान & अहमद

आज तुम्हारे लिए अच्छी स्वच्छ चीज़ें हलाल कर दी गई और जिन्हें किताब दी गई उनका भोजन भी तुम्हारे लिए हलाल है और तुम्हारा भोजन उनके लिए हलाल है और शरीफ़ और स्वतंत्र ईमानवाली स्त्रियाँ भी जो तुमसे पहले के किताबवालों में से हो, जबकि तुम उनका हक़ (मेहर) देकर उन्हें निकाह में लाओ। न तो यह काम स्वछन्द कामतृप्ति के लिए हो और न चोरी-छिपे याराना करने को। और जिस किसी ने ईमान से इनकार किया, उसका सारा किया-धरा अकारथ गया और वह आख़िरत में भी घाटे में रहेगा